कला आश्रम फाउण्डेशन के अधीन संचालित कला आश्रम काॅलेज ऑफ परफोर्मिंग आर्टस् उदयपुर द्वारा बसंत पंचमी के उपलक्ष्य में बसन्त पंचमी उत्सव कार्यक्रम आयोजित किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ कला आश्रम फाउण्डेशन की पैट्रोन ट्रस्टी व कला आश्रम काॅलेज ऑफ परफोर्मिंग आट्र्स की निदेशक डाॅ. सरोज शर्मा द्वारा मां सरस्वती की प्रतिमा के समक्ष दीप प्रज्जवलन कर किया गया।
डाॅ. सरोज शर्मा ने बताया कि बसंत पंचमी उत्सव कार्यक्रम की शुरूआत मां सरस्वती वन्दना के साथ प्रारम्भ हुई। कार्यक्रम में शुद्ध कत्थक नृत्य की यात्रा बसन्त के रंगों के संग की प्रस्तुति छात्रा प्रतिमा हरगुनानी, प्रियंका बजाज, मितुला पाण्डे, प्रिशा गांधी, आध्या गुप्ता, अदा जैन द्वारा दी गई। छात्रा प्रविधि, साक्षी श्रीमाली, मनस्वी द्वारा सरस्वती पूजन कत्थक के संग की प्रस्तुति दी। छात्रा शरण्या दास ने देवी स्तुति के माध्यम से मां सरस्वती की आध्यात्मक प्रस्तुति दी। छात्रा दृष्टि ओडिया, दिव्यानी साहू, मिशिका ने मंत्रोच्चार से ब्रह्माजी की आराधना करके मां सरस्वती का आह्वान कत्थक नृत्य की प्रस्तुति देकर किया। श्री मधुरम खत्री एवं श्रीमती इन्द्रा कंवर भी कार्यक्रम में मौजूद थे।
डाॅ. सरोज शर्मा ने सरस्वती देवी के प्रादुर्भाव एवं विद्यार्थी के जीवन में इनके महत्त्व पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि नृत्य-योग पुरातन काल से ही चली आ रही वह विधा है जो मानव शरीर में चेतना भर देती है। आज नृत्य-योग शैक्षणिक व व्यावसायिक गतिविधियों में शामिल है। इस अभिव्यक्ति को सभ्य समाज में उच्च स्थान मिला है और शारीरिक व आध्यात्मिक विकास का महत्त्वपूर्ण आधार ही शास्त्रीय नृत्यों में प्रयोग होने वाले कारणों की प्रस्तुति के लिए नर्तक में नियमितता, एकाग्रता, शान्तमन, दृढ़इच्छा शक्ति की आवश्यकता होती है। नृत्य-योग वे क्रियाए है जिसके सहारे हम शारीरिक, मानसिक व आध्यात्मिक विकास कर स्वस्थ शरीर व स्वस्थ समाज की परिकल्पना को साकार कर सकते हैं। कार्यक्रम के अन्त में प्रसाद वितरण के साथ ही बसंत पंचमी उत्सव कार्यक्रम सम्पन्न हुआ।